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Showing posts from March, 2018

शनि देव से तिल और तेल का संबंध

  “शनि देव को तिल और तेल क्यों प्रिय है.” दोस्तों, ये बात तो हम सभी जानते हैं कि शनिवार को काले तिल और तेल शनिदेव को अर्पित किए जाते हैं, लेकिन शायद आप ये नहीं जानते होंगे कि आखिर शनिदेव को ये दोनों वस्तुएं प्रिय क्यों है, इसके पीछे एक रोचक कहानी जुड़ी हुई है, चलिए आपको बताते हैं वो कहानी क्या है, इस कहानी को ध्यान से पढ़िए और दूसरे लोगों तक भी पहुंचाइए, ऐसा करने से आपको शनिदेव की कृपा प्राप्त होगी और आपके सभी कष्ट दूर होंगे. चलिए अब कहानी की और बढ़ते हैं—हनुमान जी ने सूर्यदेव से शिक्षा प्राप्त की थी, शिक्षा पूरी होने के बाद हनुमान जी सूर्यदेव को गुरूदक्सिणा देना चाहते थे, लेकिन सूर्यदेव ने हनुमान जी को कुछ भी दिए बिना जाने के लिए कह दिया, हनुमान जी तब भी गुरु दक्षिणा देने के लिए कहते रहे. यह वह समय था जब सूर्यदेव अपने पुत्र शनि देव से परेशान रहते थे, शनिदेव अपने पिता सूर्यदेव की बात नहीं सुनते थे और दूसरे लोगों को परेशान करते रहते थे, तब सूर्यदेव ने हनुमान जी से कहा यदि तुम कुछ देना ही चाहते हो तो कुछ ऐसा करो कि शनि वापस आ जाए और वह लोगों को परेशान करना छोड़ दे, तब हनुमान जी शनि लो...

Making History by Women in hindi

"नए इतिहास बनाती महिलाएं" पिछले दिनों हमने अतंरराष्ट्रीय महिला दिवस मनाया, महिलाओं की उड़ान जारी है,आज महिलाएं वो कार्य कर रही है,जिनके बारे में पहले सिर्फ कल्पना ही की जाती थी. पहले महिलाओं को युद्धक भूमिकाओं में प्रवेश नहीं मिलता था, 2016 में पहली बार सरकार ने आईटीबीपी में महिलाओं को युद्ध की गतिविधियों में शामिल होने की अनुमति दी, तभी बिहार की रहने वाली प्रकृति ने भारत तिब्बत सीमा पुलिस में जाने का मन बना लिया था, उन्होंने पहले प्रयास में केन्द्रीय सैन्य पुलिस बल में यूपीएससी द्वारा आयोजित परीक्षा पास की, वे जल्द ही आईटीबीपी में युद्धक भूमिका निभाने वाली पहली महिला अधिकारी बनेगी. ऐसे बहुत से उदाहरण जब महिलाओं ने कुछ अलग करने की ठानीं और वे उसमें सफल भी हुईं. 2016 में ही पहली बार भारतीय एयरफोर्स में तीन महिलाओं -  अवनी चतुर्वेदी, भावना कंठ और मोहाना सिंह को फ्लाइंग ऑफिसर्स बनने का अवसर प्राप्त हुआ, तीनों को जल्द ही एअरफोर्स की फ्रंट लाइन फाइटर स्कवाड्रन में शामिल किया जाएगा, अभी तक सिर्फ आस्ट्रेलिया, जर्मनी और इजरायल में ही महिलाओं को युद्ध में भेजा जाता है, अब भारत न...

लक्ष्य से अपना ध्यान न हटायें

   "लक्ष्य से अपना ध्यान न हटायें " कुछ लोग जीवन में बहुत मेहनत करते हैं बावजूद इसके वे जीवन में सफल नहीं हो पाते हैं,इसका क्या कारण है? इसका कारण है जब काफी मेहनत कर चुके होते हैं और फिर भी सफलता हाथ नहीं लगती तब हम निराश और हताश हो जाते  हैं,फिर हम इधर-उधर देखने लगते हैं दूसरे की नकल करने लगते हैं और इस तरह से हम अपना रास्ता और लंबा कर लेते हैं और साथ ही साथ अपने गुणों को भी खो देते हैं,हमेशा ध्यान रखें कि प्रत्येक व्यक्ति में कोई न कोई विशिष्ट गुण(talent) होता है,बस उसे हमें पहचानना होता है,लेकिन दूसरों की देखा-देखी में हम अपने उन गुणों को पहचान ही नहीं पाते।आप बहुत मेहनत कर चुके हैं, आपने काफी तैयारी भी की होगी, बहुत सी पुस्तके आपने पड़ी होगी फिर आपको निराश होने की जरुरत नही्ं, आपने अब तक जो कुछ भी सीखा है उसका सही उपयोग करके आप सफलता हासिल कर सकते हैं, तो निराशा को पीछे छोड़ आगे बढ़िए। चलिए इसे एक कहानी द्वारा समझते हैं--एक बार स्वामी विवेकानंद के पास एक आदमी आया जो बहुत उदास और परेशान था. उसने विवेकानंद से कहा की मै हर काम मन लगा के पूरी मेहनत के साथ करता हूँ.लेकि...